अन्नसम्बन्ध (स्वधा, स्वाहा, वौषट्, स्वगा, नमः) कासार्वभौम परिभाषा। – 2 CORRELATING MICRO & MACROFUNDAMENTAL INTERACTIONS – 2

श्रीवासुदेव मिश्रशर्म्मा उदीरतामवर उत्परास उन्मध्यमाः पितरः सौम्यास (ऋग्वेदः 10-15-1) । जैसै आधुनिक विज्ञान में सोम (leptons) का तीन भेद है (electron, muon, tau), उसीप्रकार लोक भेद से पितृ अवर, मध्यम, पर, नाम से तीन प्रकार के हैँ । ब्रह्म रूप ऋषिप्राणों से, देवरूप देवप्राणों से तथा पितृप्राणों से बने शरीर में जीव जन्मग्रहण करता है […]

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अन्नसम्बन्ध (स्वधा, स्वाहा, वौषट्, स्वगा, नमः)का सार्वभौम परिभाषा।CORRELATING MICRO & MACROFUNDAMENTAL INTERACTIONS – 1

श्रीवासुदेव मिश्रशर्म्मा (Shri Basudeba Mishra) अन्नसम्बन्ध (स्वधा, स्वाहा, वौषट्, स्वगा, नमः)का सार्वभौम परिभाषा।CORRELATING MICRO & MACROFUNDAMENTAL INTERACTIONS. आश्ळिष्टा रभसाद्विलीयत इवाक्रान्ताप्यनङ्गेन यायस्याः कृत्रिमचण्डवस्तुकरणाकूतेषु खिन्नं मनः ।कोऽयं काहमिति प्रवृत्तसुरता जानाति यो नान्तरम्रन्तुः सा रमणी स एव रमणः शेषौ तु जायापती ।।अमरुशतकम् ।। शृङ्गार के समय जो प्रिया प्रेमोत्साह से (र॒भँ॒ राभ॑स्ये + असच् = प्रेमोत्साहः, बेगः) आलिङ्गन

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श्री सनातन धर्मालोक Shree Sanatana Dharmaloka

श्रीसनातनधर्मालोक – सनातन धर्म का विश्वकोष एवं महाभारत लेखक – पण्डित दीनानाथ शर्मा शास्त्री सारस्वत, विद्यावागीश, विद्याभूषण, विद्यानिधि श्रीसनातनधर्मालोक ११ भागों में पण्डित दीनानाथ शर्मा शास्त्री सारस्वत जी द्वारा रचित सनातन हिन्दू जीवन पर एक विस्तृत विश्वकोष है। इसमें हिन्दुओं की मान्यताओं, वेद, पुराण, महाभारत आदि ग्रन्थों पर और नास्तिकों के तमाम आक्षेपों का निराकरण

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पण्डित गङ्गाधर पाठक ‘मैथिल’ जी के निबन्ध

श्रीरामजन्मभूमिशिलापूजनाचार्य वेदाद्यनेकविषयाचार्य पण्डित श्रीमद्गङ्गाधर पाठक ‘मैथिल’ जी के निबन्ध। ।। ऊँ सुरभ्यै नमः ।। गोसेवा गावो जगन्मातरः – Gavo Jaganmatarah सुरभ्यष्टोत्तरसहस्रनामावलि गोपूजापुच्छतर्पणम् श्रीसुरभियागपद्धति श्रीसुरभिस्तोत्रावलि श्रीगोवंशमहिमामृतम् अन्य निबन्ध ज्योतिष, कर्मकाण्ड, तन्त्र, आयुर्वेद श्रीसीतार्चनपद्धति कल्प-सृष्टि-संवत्सर-विज्ञान सङ्गीत-चिकित्सा-विज्ञान भुशुण्डि रामायण का तथ्यान्वेषण संन्यासाधिकारसमीक्षा- करपात्रस्वामी श्रीदुर्गासप्तशती की दुष्टा का रहस्य ब्रह्मसूत्रभूमिका-करपात्रीजी श्रीवाचस्पतिमतसमीक्षा व्यासपीठाधिकारविमर्श महामारी के कारण और शमन तुलसीविवाहवर्णनम् महारास

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प्रत्यक्चैतन्य – वासुदेव मिश्रशर्म्मा

प्रत्यक्चैतन्य – MECHANISM OF CONSCIOUSNESS. वासुदेव मिश्रशर्म्मा चेतनतत्त्व (consciousness) क्या है ? सेन्द्रियं चेतन द्रव्यं निरिन्द्रियम् अचेतनम् – जिसमें इन्द्रिय है, वह चेतन है । जिसमें इन्द्रिय नहीं है, वह अचेतन है । चेतना एवं जीवन एकार्थक नहीं है । प्राणधारणं जीवनम् – शक्ति का एक उत्स किसी शरीर में बद्ध रहकर बाहर के शक्तियों

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